नई दिल्ली।। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने एक अखबार के इंटरव्यू में कहा है कि वो पार्टी की कोई भी जिम्मेदारी लेने के लिए तैयार हैं। अगर पार्टी ये तय करती है कि उन्हें प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाया जाए तो वो इस जिम्मेदारी से भी पीछे नहीं हटेंगे।
इंटरव्यू में राहुल ने ये बात भी साफ की कि प्रियंका गांधी कि कोई चुनावी भूमिका नहीं होगी। राहुल ने इस आरोप को भी खारिज कर दिया कि सहयोगी पार्टियां कांग्रेस से दूर होती चली जा रही हैं। बिहार में लालू यादव के साथ गठबंधन से भी उन्होंने इंकार नहीं किया।
दिल्ली चुनाव में हार के बाद आम आदमी पार्टी से सबक लेने की बात कहने वाले राहुल ने इंटरव्यू में कहा कि दरअसल आम आदमी पार्टी कांग्रेस के उठाए मुद्दों पर ही अमल कर रही है, लेकिन वो आम आदमी पार्टी के तौर-तरीकों से सहमत नहीं हैं।
बीजेपी के पीएम उम्मीदवार नरेंद्र मोदी के कांग्रेस मुक्त भारत के नारे पर राहुल बोले कि कांग्रेस इस देश के डीएनए में है और सत्ता सिर्फ एक आदमी की सोच और उसके तरीके से नहीं चलनी चाहिए।
राहुल से किए गए सवाल-जवाब:-
सवाल 1- क्या प्रधानमंत्री पद की जिम्मेदारी लेंगे?
जवाब- हम एक लोकतांत्रिक संगठन हैं। हमें लोकतंत्र में विश्वास है। भारत की जनता अपने चुने हुए प्रतिनिधियों के द्वारा ये तय करेगी कि इस देश का प्रधानमंत्री कौन होगा। देश के हित में कांग्रेस का सत्ता में आना जरूरी है और उसके लिए संगठन ने जो जिम्मेदारी दी है या जो भविष्य में देगी, उसे मैं पूरी निष्ठा के साथ निर्वाह करूंगा।
सवाल 2- कहा जा रहा है आप जिम्मेदारी लेने के लिए तत्पर नहीं रहते। रिलक्टेंट हैं?
जवाब- मैं कांग्रेस का सिपाही हूं। जो भी मुझे आदेश मिलेगा मैं उसका पालन करूंगा। कांग्रेस जो कहेगी मैं वही करूंगा। मेरा सवाल ये है कि हमारा सारा आर्ग्यूमेंट एक पोस्ट को लेकर क्यों रुक जाता है?
सवाल 3- प्रियंका की अगले चुनाव में क्या भूमिका होगी? क्या वे चुनाव लड़ेंगी?
जवाब- प्रियंका मेरी बहन और मेरी दोस्त है। साथ ही, कांग्रेस की सक्रिय कार्यकर्ता हैं। और इसके नाते वो मुझे और संगठन को मजबूत करने के लिए मदद कर रही हैं। मुझे नहीं लगता कि उनकी कोई चुनावी भूमिका होगी।
सवाल 4- आप आम जनता से कैसे पूछेंगे कि किसको उम्मीदवार बनाया जाए?
जवाब- कांग्रेस लोकतंत्र को गहराई से लागू करना चाहती है। हम आम जनता को पार्टी में, संगठन में शामिल कर रहे हैं। आज आपने देखा कि हमने पार्टी के घोषणा-पत्र को जनता के सामने खोल दिया है।
सवाल 5- क्या वजह है कि सहयोगी पार्टियां भी कांग्रेस से दूर होती जा रही हैं?
जवाब- सहयोगी हमसे दूर जा रहे हैं, ये सही नहीं है। हमारे डिस्कशन अभी चल रहे हैं। जम्मू-कश्मीर में हमारे सहयोगी हैं, महाराष्ट्र में हमारे सहयोगी हैं। बिहार में हमारे सहयोगी नहीं थे, इस बार बात चल रही है।
सवाल 6- बिहार में लालू यादव से गठबंधन करते हैं तो भ्रष्टाचार के विरुद्ध आपका मुद्दा तो पूरी तरह ध्वस्त हो जाएगा। क्या कांग्रेस ऐसा करेगी?
जवाब- अभी तो बातचीत चल रही है। पार्टी की अलायंस कमेटी ये फैसले लेती हैं और उनकी सिफारिशें मुझे मंजूर होंगी
सवाल 7- आप कह रहे हैं कि आम आदमी पार्टी से सीखेगी कांग्रेस?
जवाब- कांग्रेस पार्टी एक मजबूत और गतिशील संगठन है। कांग्रेस ने पहले भी देश की राजनीति के स्वरूप को बदला है और आगे भी बदलेगी। जबसे मैं राजनीति में आया हूं, तबसे हम ये सब बातें उठाते रहे हैं। इसमें से कुछ चीजें आम आदमी पार्टी ने अमल की हैं। पर हमारा और उनका रवैया अलग-अलग है। मैं उनके कई तरीकों से सहमत नहीं हूं। हमारे निर्णय लोगों के हित में शार्ट टर्म गेन के बजाए उनके सुरक्षित भविष्य को देखकर होने चाहिए। भारत में सम्राट अशोक हुए। अकबर हुए। औरंगजेब रहा। सम्राट अशोक जोडऩे के लिए प्रसिद्ध हुए। अकबर ने भी लोगों को जोड़ा। तो उनके नाम अलग ही सम्मान के साथ लिए जाते हैं। औरंगजेब का नाम अलग तरह से लिया जाता है। कांग्रेस सौ साल से जोडऩे का ही काम कर रही है।
सवाल 8- बीजेपी के कांग्रेसमुक्त भारत और नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता पर आप क्या कहेंगे?
जवाब- आज बीजेपी एक व्यक्ति आधारित सत्ता चाहती है, जो देशहित में नहीं है। सत्ता किसी एक व्यक्ति की सोच और उसके अपने तरीकों से नहीं चलनी चाहिए। सबको साथ लेकर चलने से ही 120 करोड़ लोगों के भविष्य को संवारा जा सकता है। कांग्रेस इस देश के डीएनए में है।
सवाल 9- क्या आपको सौ प्रतिशत भरोसा है कि कांग्रेस-यूपीए इस बार भी आम चुनाव में जीतेगी?
जवाब- मुझे लगता है कि पिछले दस साल में हमने काफी अच्छे काम किए है, जिसमें हमने विकास के ढांचे को बदला है। जिसमें मनरेगा और राइट टू एजुकेशन, भूमि अधिग्रहण जैसे लैंडमार्क निर्णय लिए गए हैं। कांग्रेस अधिकार देती जा रही है। अब होने वाले आम चुनाव बहुत एक्साइटिंग है और मुझे पूरा विश्वास है कि हम चुनाव में अच्छा करेंगे।