यदि एक को ज़मीन खरीद के बाद 118 की अनुमति मिल सकती है तो दूसरे को क्यों नहीं

Created on Tuesday, 04 December 2018 05:05
Written by Shail Samachar

शिमला/शैल। राजस्व एवम् भूसुधार अधिनियम की धारा 118 में 1988 में संशोधन करके उपधारा 3 जोड़ी गयी थी। इस संशोधन के मुताबिक जो भी जमीन धारा 118 के तहत अनुमति लिये बिना खरीद ली जाती है वह ऐसा सामने आने पर सरकार में विहित हो जायेगी। यह संशोधन 14-4-1988 से लागू हो गया था। इस संशोधन में ही यह प्रावधान कर दिया गया था कि कोई भी रजिस्ट्रार या उप रजिस्ट्रार ऐसा पंजीकरण नही करेगा जिसमें इसी अधिनियम की उपधारा एक की उल्लघंना की गयी हो। इस संशोधन में यह स्पष्ट कर दिया गया कि धारा 118 के तहत वांच्छित औपचारिकताओं की अनुपालना की सुनिश्चितता यह संबंधित राजस्व अधिकारी करेंगे। यह मूल अधिनियम 1972 से लागू है और इसमें यह प्रावधान किया गया कि कोई भी गैर कृषक प्रदेश में सरकार की अनुमति के बिना जमीन नही खरीद सकता। यह इस अधिनियम की धारा 118 में दर्ज है लेकिन इसमें राजस्व अधिकारियों की सीधी जिम्मेदारी नही लगायी गयी थी क्योंकि इसमें उपधारा तीन उस समय थी ही नही। लेकिन राजस्व अधिकारी राजस्व नियमों की अनुपालना सुनिश्चित करेंगे इसके लिये समय समय पर स्टैण्डिंग आर्डर जारी होते रहे हैं। इसका उद्देश्य यह रहा था कि यदि किसी खरीददार को धारा 118 के तहत अनुमति लेने की अनिवार्यता का पता नहीं है तो यह अधिकारी उसे इसकी जानकारी देंगे। लेकिन 14-4-1988 से पहले यह स्पष्ट प्रावधान नही था कि यदि 118 की अनुमति नही है तो ऐसी जमीन सरकार में विहित हो जायेगी।

एक व्यक्ति बलदेव किरण भल्ला ने 1984 में मकान के लिये जमीन खरीदी और उस पर मकान बना लिया उसने 118 में तहत खरीद की अनुमति नही ली थी और रजिस्ट्रार ने उसके बिना ही पंजीकरण कर दिया। रजिस्ट्रार ने 118 के बारे में कोई जिक्र ही नही किया। अब तीस वर्ष बाद इस आदमी की शिकायत हो गयी कि उसने बिना अनुमति के यह जमीन खरीदी है। अब यह आदमी राजस्व अदालतों के चक्कर काट रहा है। इसमें यह दिलचस्प हो गया है कि 118 की अनुमति के बिना रजिस्ट्रार ने जब पंजीकरण कर लिया जब इस व्यक्ति की गलती क्या है। फिर सरकार ने 2002 और 2003 में कुछ लोेगों को जमीन खरीद के बहुत बाद 118 की अनुमतियां दी हैं। ऐसे में यह सवाल खड़ा हो जाता है कि जब कुछ लोगों को ऐसी अनुमति दी जा सकती है तो फिर भल्ला को यह अनुमति क्यों नहीं मिल सकती।